मुंबई: महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई के एक थाने की महिला इंस्पेक्टर के ट्रांसफर के बाद विवाद खड़ा हो गया है। मामला मुंबई के नागपाड़ा पुलिस थाने की महिला सीनियर इंस्पेक्टर शालिनि शर्मा से जुड़ा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, समाजवादी पार्टी के विधायक अबू आज़मी 3 दिन पहले आधी रात को थाने में ही धरने पर बैठ गए थे। इस तरह आज़मी के खिलाफ लॉकडाउन की धज्जियां उड़ाने के लिए केस दर्ज किए जाने की मांग की जा रही थी। हालांकि आज़मी के खिलाफ तो केस दर्ज नहीं हुआ, महिला इंस्पेक्टर का ट्रांसफर जरूर हो गया।
इस मामले पर मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह का कहना है कि शालिनी ने खुद ट्रांसफर के लिए दरख्वास्त की थी। गौरतलब है कि इसके पहले शालिनी शर्मा के नागपाड़ा थाने के अंतर्गत ही मुंबई बाग का प्रदर्शन भी हुआ था। उस समय भी उन्होंने लोगों को प्रदर्शन से हटाने की कोशिश की थी, जिसके बाद से क्षेत्र के लोग उनकी खिलाफत कर रहे थे। कहा जा रहा है कि फिलहाल आज़मी पर डिजास्टर ऐक्ट के तहत केस दर्ज होने के बजाय उनका तबादला मुंबई पुलिस के मनोबल को तोड़ने जैसा है।
बता दें कि बीजेपी ने गुरुवार को शालिनी शर्मा से नागपाड़ा पुलिस थाने में मुलाकात कर आज़मी के खिलाफ केस दर्ज करने की मांग की थी। हालांकि रात भर समर्थकों के साथ सड़क पर धरना प्रदर्शन करने वाले अबू आज़मी पर कोई केस दर्ज नहीं हुआ। बीजेपी ने शालिनी शर्मा के ट्रांसफर पर ठाकरे सरकार पर जमकर हमला बोला है। गौरतलब है महाराष्ट्र विधानसभा में समाजवादी पार्टी के 2 विधायक हैं जो मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली महाविकास आघाड़ी को समर्थन कर रहे है। ऐसे में बीजेपी इस इस ट्रांसफर को राजनीतिक ट्रांसफर दबाव में कराया गया ट्रांसफर बता रही है।
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